न जा मेरी मुस्कानों पर,
रूदन रोधी अभिनय हैं!
रक्त का जिनके पता नहीं,
वे बने शुद्धि के परिचय हैं!
इतिहासों में नाम नहीं
मुझ पर करते संशय हैं!
पुरखे जिनके वीर्यपात,
वे ब्रह्मचर्य के दुर्जय हैं!
कुल्हाड़े जिनके निर्दय हैं,
लगते उनको सब हैहय हैं!